
ब्रेस्टफीडिंग एक सुंदर और प्राकृतिक प्रक्रिया है, लेकिन कई महिलाओं को शुरुआत में दर्द, तकलीफ या परेशानी का सामना करना पड़ता है। अगर आप भी ब्रेस्टफीडिंग के दौरान दर्द महसूस कर रही हैं, तो घबराएं नहीं — यह समस्या आम है और इसका समाधान संभव है। इस ब्लॉग में हम ब्रेस्टफीडिंग से जुड़े दर्द के कारण, उपाय और विस्तृत जानकारी साझा करेंगे।
ब्रेस्टफीडिंग में दर्द के मुख्य कारण
- गलत लैचिंग (Improper Latching) – अगर बच्चा सही तरीके से स्तन को मुंह में नहीं लेता, तो निप्पल पर दबाव पड़ता है, जिससे दर्द होता है।
- निप्पल क्रैक या घाव (Cracked Nipples) – सूखापन या गलत तकनीक से निप्पल फट सकते हैं।
- ब्रेस्ट इन्फेक्शन (Mastitis) – स्तन में संक्रमण होने पर दर्द, सूजन और बुखार आ सकता है।
- ब्लॉक्ड मिल्क डक्ट (Clogged Ducts) – दूध की नलिकाएं बंद होने से स्तन में गांठ और दर्द होता है।
- बच्चे के दांत निकलना (Teething) – कुछ बच्चे दांत आने पर काटने लगते हैं, जिससे मां को तकलीफ होती है।
5 आसान टिप्स: ब्रेस्टफीडिंग के दर्द से राहत पाने के लिए
1. सही लैचिंग तकनीक (Proper Latching Technique)
बच्चे का मुंह पूरी तरह खुला होना चाहिए और उसे निप्पल के साथ एरोला (स्तन का गहरा हिस्सा) भी मुंह में लेना चाहिए।
- कैसे करें?
- बच्चे को स्तन की तरफ इस तरह मोड़ें कि उसकी नाक निप्पल के सामने हो।
- होठों को निप्पल पर छुआएं ताकि वह मुंह खोले।
- जब मुंह पूरा खुले, तो उसे स्तन से लगाएं।
✅ फायदा: दर्द कम होगा और बच्चे को पर्याप्त दूध मिलेगा।
2. आरामदायक पोजीशन (Comfortable Breastfeeding Positions)
गलत पोजीशन में फीड कराने से पीठ, कंधे और स्तन में दर्द हो सकता है।
- बेस्ट पोजीशन्स:
- क्रैडल होल्ड: सामान्य पोजीशन, बच्चे को गोद में लेकर फीड कराएं।
- फुटबॉल होल्ड: सीजेरियन डिलीवरी वाली माओं के लिए आरामदायक।
- साइड-लाइंग पोजीशन: रात में फीड कराते समय आराम मिलता है।
🛌 टिप: तकिए या ब्रेस्टफीडिंग कुशन का इस्तेमाल करें।
3. निप्पल की देखभाल (Nipple Care)
अगर निप्पल में दरारें या सूखापन है, तो इन उपायों को आजमाएं:
- लैनोलिन क्रीम (Lanolin Cream): डॉक्टर की सलाह से इसे लगाएं, यह नेचुरल और सेफ है।
- स्तन के दूध का इस्तेमाल: फीडिंग के बाद निप्पल पर कुछ बूंदें लगाकर सूखने दें, यह नेचुरल मॉइस्चराइजर है।
- नर्मल साबुन का कम इस्तेमाल: केमिकल युक्त साबुन निप्पल को रूखा बना सकता है।
4. ब्रेस्ट में सूजन या गांठ हो तो (For Engorgement or Clogged Ducts)
- गर्म सेंक (Warm Compress): गर्म पानी की बोतल या कपड़े से स्तन की मालिश करें।
- ठंडी सिकाई (Cold Compress): सूजन कम करने के लिए ठंडे पानी की सिकाई भी फायदेमंद है।
- बच्चे को बार-बार फीड कराएं: इससे दूध का प्रवाह बना रहता है।
5. सेल्फ-केयर (Self-Care for Breastfeeding Moms)
- हाइड्रेटेड रहें: दूध बनाने के लिए शरीर को अधिक पानी की जरूरत होती है।
- पौष्टिक आहार: दालें, हरी सब्जियां, ड्राई फ्रूट्स और दूध लें।
- आराम करें: थकान दर्द को बढ़ा सकती है, इसलिए जितना हो सके आराम करें।
कब डॉक्टर से संपर्क करें?
- अगर दर्द 2-3 दिन से अधिक हो।
- स्तन में लालिमा, गांठ या बुखार आए।
- निप्पल से खून आए या घाव ठीक न हो।
निष्कर्ष
ब्रेस्टफीडिंग में दर्द होना सामान्य है, लेकिन सही तकनीक और देखभाल से इसे कम किया जा सकता है। धैर्य रखें, अपना ख्याल रखें और जरूरत पड़ने पर डॉक्टर या लैक्टेशन एक्सपर्ट की सलाह लें।
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